How To Improve Cibil Score 300 to 750 : अपना सिबिल स्कोर कैसे सुधारें? सिबिल स्कोर बढ़ाने का आसान तरीका

How To Improve Cibil Score 2024 : अगर आपका सिबिल स्कोर कम हो गया है तो इसका ये मतलब नहीं है कि आप दोबारा अपना सिबिल स्कोर सुधार नहीं सकतें। आपको कुछ विशेष बातों का ध्यान रखना होगा जिससे आपका सिबिल स्कोर धीरे-धीरे ठीक होने लगेगा। अपना सिबिल स्कोर कैसे सुधारें? ये सवाल लगभग हर उस व्यक्ति के मन में होता है जिसका सिबिल स्कोर घटता चला जा रहा है, अगर आप भी इनमें से एक हैं तो अब आपको चिंता करके की जरूरत नहीं है क्योंकि आज के इस पोस्ट हम बताएंगे कि आप अपना सिबिल स्कोर कैसे बढ़ा सकते हैं। लेकिन पहले आपको ये समझना जरूरी है कि सिबिल स्कोर होता क्या है और सिबिल स्कोर को अच्छा रखना क्यों जरूरी होता है?

दोस्तों, सिबिल स्कोर आपके फाइनेंशियली स्ट्रॉन्ग होने का प्रमाण होता है, ये आपके क्रेडिट रिकॉर्ड का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है जिसके माध्यम से कोई भी वित्तीय संस्था यह देखती है कि आपकी क्रेडिट हिस्ट्री कैसी रही है, आपने अपने पिछले बिल या ऋण का भुगतान समय से किया है या नहीं या आप हर प्रकार के ऋण चुकाने में सक्षम हैं या नहीं, इसलिए जब भी आप लोन लेने के लिए किसी बैंक आदि में जाते हैं तो सबसे पहले आपका सिबिल स्कोर ही देखा जाता है। Cibil Score बहुत बड़ा फैक्टर होता है जो बताता है कि आपको लोन मिल सकता है या नहीं।

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How To Improve Cibil Score

अगर आपका सिबिल स्कोर अधिक है तो कोई भी संस्था आपको लोन देने से पीछे नहीं हटेगी लेकिन अगर आपका सिबिल स्कोर कम है तो आपके लिए लोन लेना मुश्किल हो जाएगा। इसलिए ये जरूरी है कि सिबिल स्कोर को हमेशा अच्छा बनाये रखा जाए। कभी कभार ऐसा हो जाता है कि हमारी अपनी कुछ गलतियों के कारण सिबिल स्कोर घट जाता है लेकिन इसे दोबारा सुधारा जा सकता है लेकिन इसके बारे में जानने से पहले चलिए ये देख लेते हैं कि अच्छे क्रेडिट रिकॉर्ड के लिए क्रेडिट स्कोर कितना होना चाहिए फिर हम आपको बताएंगे कि क्रेडिट स्कोर यानी सिबिल स्कोर को कैसे सुधारे (How To Improve Cibil Score)?

सिबिल स्कोर कितना होना चाहिए?

सिबिल स्कोर 300 से 900 के बीच कोई भी तीन डिजिट का नंबर हो सकता है जिसमें 900 उच्च होता है और इसका अर्थ यह है कि आपका सिबिल स्कोर बहुत अच्छा है। यदि आपका CIBIL Score 700 या 700 से ऊपर है तो कोई भी संस्था आपको आसानी से लोन दे देगी लेकिन अगर आपका सिबिल स्कोर 600 या उससे कम है तो आपको लोन लेने के लिए काफी मशक्कत करनी पड़ेगी –

स्कोर रेंजक्रेडिट स्कोर का मतलब
300-549ख़राब सिबिल स्कोर, अनियमित भुगतान, ऋण जोखिम संभावना, अनुचित क्रेडिट कार्ड उपयोग, डिफॉल्टर बनने का जोखिम।
550-649उचित सिबिल स्कोर, क्रेडिट कार्ड बिल या ईएमआई का देर से भुगतान, अधिक क्रेडिट उपयोग।
650-749           अच्छा सिबिल स्कोर, समय पर पुनर्भुगतान व्यवहार, अच्छा क्रेडिट इतिहास, ऋण प्राप्त करने के योग्य, डिफॉल्टर बनने का कम जोखिम।
750-900           उच्च सिबिल स्कोर, डिफॉल्ट भुगतान नहीं, समय पर बिलों का भुगतान, ऋण या बिल बकाया नहीं, कम ब्याज दर पर ऋण प्राप्त करने के योग्य।

अपना सिबिल स्कोर कैसे सुधारें? (How To Improve Cibil Score)

ऊपर दिए गए टेबल से आप समझ गए होंगे कि CIBIL Score किन बातों का संकेत देता है और आप अभी किस कैटेगरी में आते हैं। अब अगर आप अपने कम सिबिल स्कोर को उच्च सिबिल स्कोर में बदलना चाहते हैं यानि सिबिल स्कोर को बढ़ाना चाहते हैं तो इसके लिए आपको नीचे दिए गए बातों का खास ध्यान रखना होगा

1. समय पर ऋण चुकाएं

सिबिल स्कोर बढ़ाने के लिए आपको इस बात का ध्यान रखना है कि अगर आपने कोई ऋण लिया है तो उसका भुगतान समय पर करना होगा। अगर आप समय पर लोन का भुगतान नहीं करते हैं तो आपका क्रेडिट स्कोर इससे प्रभावित होता है। इसका पूरा रिकॉर्ड आपके क्रेडिट रिपोर्ट में दर्ज किया जाता है और इसी कारण से क्रेडिट स्कोर घटता जाता है। इसलिए सिबिल स्कोर को अच्छा रखने के लिए समय पर ऋण की ईएमआई का भुगतान करना बेहद जरूरी है। ऐसा न करने पर आपको पेनल्टी भी भरनी पड़ेगी और आपका सिबिल स्कोर घट जाएगा।

2. क्रेडिट रिपोर्ट चेक करते रहें

आपको कभी कभार अपने क्रेडिट रिपोर्ट की जांच करते रहना चाहिए ताकि किसी प्रकार की त्रुटि दिखने पर आप उसका समय पर निवारण कर सकें। यदि आपके क्रेडिट इतिहास में कोई त्रुटि बनी रहती है और उसका निवारण नहीं होता है तो इस वजह से भी क्रेडिट स्कोर कम होता जाता है। क्रेडिट रिपोर्ट चेक करके आप यह देख सकते हैं कि आपकी क्रेडिट हिस्ट्री सही है या नहीं।

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3. क्रेडिट बैलेंस बनाए रखें

आपको इस बात का ध्यान रखना होगा कि आपका क्रेडिट बैलेंस बना रहे। अगर आपने सिक्योर्ड और अनसिक्योर्ड दोनों प्रकार के लोन लिए हैं तो आपको पहले अनसिक्योर्ड लोन का भुगतान करना चाहिए, इससे आपको क्रेडिट बैलेंस बनाए रखने में मदद मिलेगी क्योंकि सिक्योर्ड लोन लेने वाले व्यक्ति पर फाइनेंशियल कंपनी या बैंक को भरोसा होता है कि वह समय पर लोन चुका ही देगा। लेकिन Unsecured लोन लेने वाले व्यक्ति को ऋण देते समय वित्तीय संस्थाएं थोड़ा हिचकिचाती है क्योंकि उनके डिफॉल्ट होने का जोखिम होता है, इसलिए क्रेडिट बैलेंस बनाए रखने के लिए आपको पहले अनसिक्योर्ड लोन का भुगतान करना चाहिए।

4. प्रशासनिक गतिविधि पर नजर बनाएं रखें

लोन चुका देने के बाद भी आपको इस बात पर ध्यान देना चाहिए कि बैंक द्वारा आपका यह लोन बंद कर दिया गया है। अगर आपने लोन चुका दिया है और उसके बाद भी आपकी क्रेडिट रिपोर्ट में यह शो हो रहा है कि आपका लोन बंद नहीं हुआ है तो यह भी एक वजह होती है सिबिल स्कोर घटने की, इसलिए आपको प्रशासनिक गतिविधियों पर भी नजर बनाए रखनी होगी। पूरा लोन चौका देने के बाद आपको यह लोन एक्टिव नहीं दिखाई देना चाहिए वरना सिबिल स्कोर इससे लगातार घटता जाएगा, इसलिए सुनिश्चित करें कि आपका लोन एक्टिवेट नहीं है।

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5. जॉइंट अकाउंट से सावधान

अगर आप किसी के साथ ज्वाइंट अकाउंट खुलवाते हैं और आपके पार्टनर का क्रेडिट स्कोर कम होता है तो यह आपके क्रेडिट स्कोर को भी प्रभावित करेगा। इसी के साथ अगर आप किसी के लोन का गारंटर बनते हैं और वह लोन नहीं चुका पाता है तो भी आपका सिबिल स्कोर प्रभावित होगा, इसलिए जॉइंट अकाउंट लेने से और किसी का गारंटर बनने से आपको बचना चाहिए।

6. एक समय पर एक ही लोन लें

अगर आप एक समय पर एक से ज्यादा लोन लेकर बैठे हैं तो यह आपके सिबिल स्कोर को बुरी तरह प्रभावित कर सकता है क्योंकि ऐसे में आपके ऊपर ईएमआई का भार बढ़ेगा और समय पर ईएमआई न चुकाने से सिबिल स्कोर घटेगा, इसलिए एक समय पर एक ही लोन लें और उसका समय पर भुगतान करें।

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7. क्रेडिट बिल बकाया ना रखें

Credit Card Bill का समय पर भुगतान न करने से भी क्रेडिट स्कोर काफी प्रभावित होता है। अगर आपका क्रेडिट बिल बकाया है तो उसे जल्दी से जल्दी चुका देना चाहिए क्योंकि बकाया राशि की जानकारी भी आपके क्रेडिट रिपोर्ट में दर्ज होगी जो आपके सिबिल स्कोर को घटाएगी।

8. क्रेडिट कार्ड का अधिक उपयोग ना करें

कोशिश करे कि क्रेडिट कार्ड के उपयोग का अनुपात सही हो। आपको कभी भी क्रेडिट लिमिट का 30% से अधिक खर्च नहीं करना चाहिए क्योंकि इससे यह पता चलता है कि आप सोच – समझे बिना फिजूल खर्च करते हैं जिससे सिबिल स्कोर कम होता है।

8. लोन भुगतान की लंबी अवधि चुननी चाहिए

अगर आप लोन भुगतान के लिए लंबी रीपेमेंट अवधि चुनते हैं तो इसे हर महीने आपका ईएमआई छोटा हो जाएगा जिससे आपके ऊपर बाहर नहीं आएगा और आप समय पर ईएमआई का भुगतान कर सकेंगे जिससे लोन समय पर आसानी से चुकाया जा सकेगा और सिबिल स्कोर बढ़ेगा।

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